रूस अगर यूक्रेन पर परमाणु हमला करे तो ,अमेरिका घातक जवाब देने को तैयार-बाइडेन

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  नई दिल्ली
 
 रूस और यूक्रेन की लड़ाई अब उस मोर्चे पर पहुंच चुकी है जहां अब परमाणु हमले की चर्चा हो रही है. क्रीमिया ब्रिज पर हमले के बाद भड़के पुतिन ने यूक्रेन पर मिसाइलों और बमों की बारिश कर दी है. यूक्रेन के कीव, खारकीव जैसे शहरों को पुतिन ने बमों से पाट दिया है. कूटनीतिक हलकों, सैन्य प्रतिष्ठानों में अब इस बात की चर्चा हो रही है कि पुतिन यूक्रेन पर टैक्टिकल न्यूक्लियर अटैक भी कर सकते हैं.

अगर पुतिन यूक्रेन पर परमाणु हमला कर दे तो अमेरिका की क्या प्रतिक्रिया होगी? यही सवाल अमेरिकी न्यूज चैनल सीएनएन के एक कार्यक्रम में राष्ट्रपति जो बाइडेन से किया गया.

6 शब्दों में बाइडेन का टका सा जवाब

इस प्रश्न के जवाब में बाइडेन 6 शब्दों का साफ-सुथरा और खरा उत्तर दिया. बाइडेन ने कहा, "Pentagon didn't have to be asked…" यानि कि ऐसी स्थिति में पेंटागन को प्रतिक्रिया देने के लिए किसी से पूछने की जरूरत नहीं होगी. पेंटागन अमेरिका के रक्षा मंत्रालय का नाम है. बाइडन के जवाब से स्पष्ट है कि ऐसी कोई भी परिस्थिति आने पर अमेरिका घातक जवाब देने को तैयार है.

सीएनएन ने बाइडेन से पूछा कि यूक्रेन में अमेरिका और नाटो के लिए रेड लाइन क्या होगा और अगर पुतिन यूक्रेन में परमाणु संयंत्र पर बमबारी करते हैं या टैक्टिक्ल परमाणु हथियार का इस्तेमाल करते हैं? इसके जवाब में बाइडेन ने कहा, "हम क्या करेंगे या क्या नहीं, इस बारे में बात करना मेरे लिए गैर-जिम्मेदाराना होगा."

क्या पुतिन से मिलेंगे?

इंटरव्यू में बाइडेन से यह भी पूछा गया कि क्या वे अगले महीने इंडोनेशिया में जी-20 की मीटिंग में पुतिन से मुलाकात करेंगे? इसके जवाब में बाइडेन ने पुतिन से मिलने से तो इनकार नहीं किया लेकिन उन्होंने कहा कि इसके साथ शर्तें भी हैं. उन्होंने कहा, "मेरा उनसे मिलने का कोई इरादा नहीं है, लेकिन देखिए, अगर वह जी-20 में मेरे पास आएं और कहें कि वे ग्रिनर की रिहाई के बारे में बात करना चाहते हैं तो मैं उनसे मिलूंगा, लेकिन यह निर्भर करेगा." बता दें कि ग्रिनर अमेरिका के बॉस्केट बॉल प्लेयर हैं. उन्हें रूस में गिरफ्तार किया गया था और 9 साल की सजा सुनाई गई थी.  

सीएनएन के अनुसार बाइडेन ने कहा कि "उन्होंने बेरहमी से काम किया है, मुझे लगता है कि उन्होंने युद्ध अपराध किया है, और इसलिए मैं अब उससे मिलने का कोई औचित्य नहीं देखता हूं. बता दें कि जी-7 देशों ने पुतिन को चेतावनी दी है कि अगर वे परमाणु बम का इस्तेमाल करते हैं तो इसके एवज में उन्हें बेहद गंभीर नतीजे भुगतने होंगे.

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