NCRB रिपोर्ट में खुलासा! संपत्ति अपराध की गिरफ्तारियों में कानपुर नंबर एक

0
150

कानपुर
 
संपत्ति अपराध की गिरफ्तारियों में कानपुर यूपी ही नहीं बल्कि देशभर में सबसे आगे है। वर्ष 2021 की बात करें तो 19 मेट्रोपॉलिटिन शहरों में कानपुर में सबसे ज्यादा आरोपित पकड़े गए। अहम बात है कि संपत्ति विवादों को लेकर कानपुर की स्थिति कभी भी अच्छी नहीं रही। यह हम नहीं, एनसीआरबी के आंकड़े कह रहे हैं। इसके मुताबिक पुलिस के पास पहुंचने वाली हर दूसरी शिकायत प्रॉपर्टी विवाद की होती है। वहीं, अफसरों का कहना है कि सम्पत्तियों के विवाद में पुलिस की सिर्फ इतनी भूमिका रहती है कि कानून व्यवस्था न बिगड़ पाए।

एनसीआरबी की ओर से तैयार किए गए आंकड़ों के मुताबिक सभी 19 मेट्रोपॉलिटिन शहरों का आंकड़ा तैयार किया गया। इनके अनुसार 2021 में संपत्ति विवादों के तहत कानपुर में 377 लोगों को गिरफ्तार किया गया। 2021 में 433 संपत्ति विवाद के मामले दर्ज किए गए। वहीं, इस साल यानी 2022 में सितम्बर तक पुलिस 412 प्रॉपर्टी विवाद की एफआईआर दर्ज कर चुकी है। कानपुर पुलिस कमिश्नरेट में थानों के अलावा एसीपी, एडीसीपी, डीसीपी, ज्वाइंट सीपी और पुलिस कमिश्नर के पास शिकायतें पहुंचती हैं। आलम यह है कि इन सभी अधिकारियों को पास पहुंचने वाली हर दूसरी शिकायत किसी ने किसी संपत्ति के विवाद को लेकर होती है।
 

संपत्ति विवादों में हुईं घटनाएं
15 जुलाई 2021- महाराजपुर में शिवरतन साहू की हत्या कर दी गई थी। भतीजे पर जमीन हड़पने के लिए पीटकर जान से मारने का आरोप लगा। पुलिस ने गैरइरादतन हत्या की धारा में एफआईआर दर्ज की थी। अगस्त 2021- चकेरी में संपत्ति विवाद में बेटे ने पिता को घर से बाहर निकाल दिया था। पूर्व पुलिस कमिश्नर ने कार्रवाई करते हुए उन्हें दोबारा घर में दाखिल कराया, साथ में बेटे को चेतावनी भी दी थी। ज्वाइंट सीपी कानपुर, आनंद प्रकाश तिवारी ने कहा कि संपत्ति विवाद में पुलिस का रोल सीमित है। पुलिस किसी को कब्जा नहीं करा सकती या कब्जे से हटा नहीं सकती। विवाद के दौरान कानून व्यवस्था किसी हाल मे खराब न हो इसकी जिम्मेदारी पुलिस की है।

 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here